हैपीनेस गुरू पी. के. खुराना
जीवन है तो जीवन में हमारा वास्ता चार चीजों से पड़ता है और वे तीन चीजें हैं -- लोग, घटनाएं, स्थितियां और चीजें। हमारे परिवार के लोगों के अलावा, हमारे अन्य रिश्तेदार, आसपास के लोग, हमारे सहकर्मी, हमारे पड़ोसी, हमारे सहपाठी, हमारे मित्र, हमारे ग्राहक, हमारे सप्लायर आदि कई तरह के लोगों से हमारा वास्ता पड़ता है। इसी तरह जीवन में हर रोज़ नई घटनाएं घटती हैं, कुछ सुखद होती हैं, कुछ दुखद होती हैं। कुछ स्थितियों पर हम जल्दी नियंत्रण पा लेते हैं, कुछ स्थितियां हमें असहाय कर देती हैं, कुछ स्थितियां हमारी कमज़ोरियां जाहिर करती हैं, जबकि कुछ स्थितियां हमारी मजबूती का कारण बन जाती हैं। कुछ चीजें हमें प्रिय होती हैं, कुछ अप्रिय होती हैं, कुछ के प्रति हम बेपरवाह होते हैं। लोगों, घटनाओं, स्थितियों और चीजों में से किन्हीं दो या दो से अधिक के घालमेल से हमारे अनुभव बनते हैं। अनुभव सुखद हो या दुखद, ये अनुभव ही हमारा जीवन बनते हैं।